जीवन का सच
"जीवन का सच" मेरे दिल के कोने से एक सदा आती है, मेरे थके हुए मन को विश्वाश दिलाती है, यह धुंध एक दिन छंट जायेगी, जिन्दगी फिर से जीवन्त हो जायेगी । यह उदासी यह निराशा का आलम, इन होठों की चुप्पी ना रहेगी सदा, धुंधले हुए सपनों की चमक फिर से, आयेगी, जिन्दगी की बोझिल घडियां नवजीवन से मुस्करायेगी । जिदगी तो आशाओं का समंदर है, एक उथल पुथल भी समंदर के अंदर है, समंदर फिर भी अपनी मर्यादा के अंदर है, जिन्दगी भी भावनाओं का समंदर है । हमारी खुशियाँ हमारे गम तो जीवन की सरगम, कभी आंसू तो कभी खुशियों का मधुर संगम, इन्हीं भावनाओं के ज्वार भाटा में छिपा है, . जीवन यात्रा का मरम,जीवन यात्रा का मरम ।।